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बड़हरा।भोजपुर।प्रखंड अंतर्गत कृष्णगढ़ थाना क्षेत्र अंतर्गत ममारकपुर गांव में आयोजित श्रीमद्भागवत कथा के चौथे दिन वृंदावन (मथुरा) से आये कथावाचक मधुसूदन जी ने श्रीमद् भागवत की अमर कथा व सुखदेव जी के जन्म का विस्तार से वर्णन किया। भागवत कथा प्रारंभ से पूर्व राधे-राधे श्री राधे के नाम से पूरा पंडाल गूंजता रहा। इस दौरान अगल-बगल के गांव से आए हुए श्रद्धालुगण भागवत कथा में शरीक होकर कथा का श्रवण किया। वहीं कथा वाचक मधुसूदन जी ने सुखदेव जी के जन्म का विस्तार से वर्णन करते हुऐ कहा कि कैसे श्री कृष्ण सुखदेव महाराज को धरती पर भेजे भागवत कथा ज्ञान करने को। ताकि कलयुग के लोगों का कल्याण हो सके। रास्ते में कैलाश पर्वत पर उन्होंने चुपके से भगवान शिव की ओर से मां पार्वती को सुनाई जा रही भागवत कथा सुन ली। इससे शिव नाराज होकर उन्हें मारने दौड़े। भागवत कथा का श्रवण आत्मा का परमात्मा मिलन करवाता है। संसार में जितने भी प्राणी हैं। सभी परिचित हैं सब की मृत्यु एक ना एक दिन होनी तय है और जो मनुष्य एक बार श्रीमद् भागवत कथा श्रवण कर ले और उसे सुनकर जीवन में उतार ले तो उसके समस्त पाप नष्ट हो जाते हैं। इस दौरान हरे कृष्ण उपाध्याय बच्चा उपाध्याय उर्फ बृजनाथ उपाध्याय, मोहन उपाध्याय, मुन्ना उपाध्याय देवानंद उपाध्याय, उदय शंकर उपाध्याय , श्याम जी उपाध्याय एवं समस्त ग्रामीण सहित अन्य लोग उपस्थित रहे ।